ऋण मुक्ति, आर्थिक समृद्धि एवं स्थिरता के लिए अमावस्या काशी विशेष स्वर्णाकर्षण भैरव मंत्र जाप और काल भैरव अष्टकम स्तोत्र पाठ
ऋण मुक्ति, आर्थिक समृद्धि एवं स्थिरता के लिए अमावस्या काशी विशेष स्वर्णाकर्षण भैरव मंत्र जाप और काल भैरव अष्टकम स्तोत्र पाठ
ऋण मुक्ति, आर्थिक समृद्धि एवं स्थिरता के लिए अमावस्या काशी विशेष स्वर्णाकर्षण भैरव मंत्र जाप और काल भैरव अष्टकम स्तोत्र पाठ
ऋण मुक्ति, आर्थिक समृद्धि एवं स्थिरता के लिए अमावस्या काशी विशेष स्वर्णाकर्षण भैरव मंत्र जाप और काल भैरव अष्टकम स्तोत्र पाठ
ऋण मुक्ति, आर्थिक समृद्धि एवं स्थिरता के लिए अमावस्या काशी विशेष स्वर्णाकर्षण भैरव मंत्र जाप और काल भैरव अष्टकम स्तोत्र पाठ
ऋण मुक्ति, आर्थिक समृद्धि एवं स्थिरता के लिए अमावस्या काशी विशेष स्वर्णाकर्षण भैरव मंत्र जाप और काल भैरव अष्टकम स्तोत्र पाठ
ऋण मुक्ति, आर्थिक समृद्धि एवं स्थिरता के लिए अमावस्या काशी विशेष स्वर्णाकर्षण भैरव मंत्र जाप और काल भैरव अष्टकम स्तोत्र पाठ
ऋण मुक्ति, आर्थिक समृद्धि एवं स्थिरता के लिए अमावस्या काशी विशेष स्वर्णाकर्षण भैरव मंत्र जाप और काल भैरव अष्टकम स्तोत्र पाठ
अमावस्या काशी विशेष

स्वर्णाकर्षण भैरव मंत्र जाप और काल भैरव अष्टकम स्तोत्र पाठ

ऋण मुक्ति, आर्थिक समृद्धि एवं स्थिरता के लिए
temple venue
श्री बटुक भैरव मंदिर, काशी, उत्तर प्रदेश
pooja date
5 जुलाई, शुक्रवार, आषाढ़ कृष्ण अमावस्या
पूजा बुकिंग बंद होने में शेष समय:
Day
Hour
Min
Sec
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अब तक2,00,000+भक्तोंश्री मंदिर द्वारा आयोजित पूजाओ में भाग ले चुके हैं

ऋण मुक्ति, आर्थिक समृद्धि एवं स्थिरता के लिए अमावस्या काशी विशेष स्वर्णाकर्षण भैरव मंत्र जाप और काल भैरव अष्टकम स्तोत्र पाठ

भैरव का अर्थ है 'रक्षा करने वाला।' बाबा भैरव भगवान शिव के पांचवे अवतार हैं, जिनके दो मुख्य रूप हैं- काल भैरव और बटुक भैरव। कथा के अनुसार एक बार जब माँ पार्वती ने दारुक नमक असुर का वध करने के लिए माँ काली का विनाशकारी रूप धारण किया तो वो नियंत्रण से बाहर हो गयीं। माता को पुनः चेतना में लाने के लिए भगवान शिव ने एक पांच साल के बालक का रूप धारण किया और देवी को माँ कहकर पुकारने लगे जो सुनकर माँ का ह्रदय पिघल गया और उन्होंने वापस पार्वती का रूप धारण कर लिया। माता को शांत करने के लिए भगवान शिव ने जिस रूप को धारण किया था उन्हीं को 'बटुक भैरव' कहते हैं। श्री बटुक भैरव, भगवान भैरव के बाल स्वरूप हैं जिन्हें धन-धान्य एवं संपत्ति का दाता भी माना जाता है।

मान्यता है कि कालाष्टमी के दिन शिव जी के इस रूप भैरव का जन्‍म हुआ था इसलिए कालाष्टमी तिथि पर भैरवजी की विधिवत पूजा करने से शीघ्र फल प्राप्त होता है। शास्त्रों के अनुसार स्वर्णाकर्षण भैरव पूजा, धन और समृद्धि को आकर्षित करने के लिए की जाती है, जिससे आठ महान सिद्धियों की प्राप्ति होती है। भगवान भैरव के इस स्वरूप की पूजा से ऋण मुक्ति, आर्थिक समृद्धि, जीवन में स्थिरता एवं आपदाओं से सुरक्षा का आशीर्वाद प्राप्त होता है। इसलिए कालाष्टमी के दिन 28 जून 2024 को वैदिक रीतियों से इस पूजा को करने से भक्तों पर भैरव जी की विशेष कृपा बनी रहती है।

पूजा लाभ

puja benefits
ऋण मुक्ति के लिए
भैरव जी की इस पूजा को करने से जीवन के सभी आर्थिक कष्ट या ऋण से मुक्ति मिलती है और इसके अलावा नौकरी में पदोन्नति, बिजनेस में लाभ के साथ धन प्राप्ति के कई नए मार्ग खुलते हैं। इस पूजा को करने से भगवान भैरव प्रसन्न होकर अपने भक्तों को ऋण मुक्ति के साथ भौतिक सुखों का आशीष देते हैं।
puja benefits
आर्थिक समृद्धि एवं स्थिरता की प्राप्ति
माना जाता है कि भगवान भैरव जी के स्वर्णाकर्षण रूप की पूजा करने से जीवन में उपस्थित 8 प्रकार की दरिद्रता का नाश होता है और उनकी कृपा से धन, संपत्ति, वित्तीय उन्नति एवं आर्थिक समृद्धि प्राप्त होती है। मान्यता है की इस मंत्र के जाप से भैरव जी व्यक्ति की सभी आर्थिक समस्याओं का समाधान कर समृद्धि एवं स्थिरता का आशीष देते हैं।
puja benefits
आपदाओं से सुरक्षा
कालाष्टमी के शुभ दिन पर होने वाली स्वर्णाकर्षण भैरव मंत्र जाप और काल भैरव अष्टकम स्तोत्र पाठ को करने से भक्तों को जीवन में आने वाली सभी प्रकार आपदाओं का नाश कर सुखी जीवन का आशीर्वाद प्राप्त होता है। यह विशेष पूजा किसी भी परेशानी और नकारात्मक ऊर्जा के प्रभाव को खत्म कर देती है।

पूजा प्रक्रिया

Number-0

पूजा चयन करें

4 विभिन्न पूजा पैकेज ऑप्शन से चयन करें।
Number-1

अर्पण जोड़ें

अपनी पूजा के साथ गौ सेवा, वस्त्र दान, दीप दान भी करें। पूजा के लिए भुगतान करें।
Number-2

संकल्प विवरण दर्ज करें

अपना नाम और गोत्र दर्ज करें।
Number-3

पूजा दिन

अनुभवी पंडितों द्वारा वैदिक प्रक्रिया के अनुसार पूजा होगी। आपको अपने WhatsApp नंबर पर अपडेट्स मिलेंगे।
Number-4

पूजा वीडियो एबं तीर्थ प्रसाद डिलीवरी

अपने पंजीकृत WhatsApp नंबर पर पूजा के 4-5 दिनों में पूजा वीडियो एबं आपके दिए गए पते पर 8-10 दिनों बाद तीर्थ प्रसाद प्राप्त करें ।

श्री बटुक भैरव मंदिर, काशी, उत्तर प्रदेश

श्री बटुक भैरव मंदिर, काशी, उत्तर प्रदेश
महादेव की नगरी काशी में भक्तों की पूजा भैरव के दर्शन के बिना अधूरी मानी जाती है। इस मंदिर में काल भैरव दो रूप में विराजमान है, बटुक भैरव और आदि भैरव। बटुक भैरव काल भैरव के ही ‘बाल रूप’ हैं। स्वर्णाकर्षण भैरव, भगवान भैरव जी का सात्त्विक रूप है, इन्हें धन-धान्य और संपत्ति का अधिष्ठाता माना जाता है। इनकी पूजा विपुल एवं निरंतर धन प्राप्ति के लिए की जाती है। जैसे सोना धरती के गर्भ में होता है, वैसे ही श्री स्वर्णाकर्षण भैरव हमेशा पाताल में निवास करते हैं।

माना जाता है कि स्वर्णाकर्षण साधना से भैरव जी प्रसन्न होकर भक्तों को सुरक्षा प्रदान करते हैं, और कभी धन की कमी नहीं होने देते। भगवान भैरव की साधाना करने वाले भक्त वैभवयुक्त जीवन-यापन करते हैं। यही कारण है कि आए दिन हजारों भक्त काशी में विराजित भैरव जी के पास अपनी मनोकामना लेकर आते हैं और यहां से कभी कोई खाली हाथ नहीं जाता है।

पूजा का चयन करें

851

व्यक्तिगत पूजा

अधिकतम 1 व्यक्ति के लिए पूजा कराएं

पूजा संकल्प के दौरान पंडित जी आपके नाम और गोत्र का उच्चारण करेंगे
आपके नाम-संकल्प के साथ संपन्न हुई पूजा का वीडियो आपके साथ साझा किया जाएगा और तीर्थ प्रसाद आपके द्वारा दिए गए पते पर भेजा जाएगा।

1251

पार्टनर पूजा

अधिकतम 2 व्यक्ति के लिए पूजा कराएं

पूजा संकल्प के दौरान पंडित जी आपके नाम और गोत्र का उच्चारण करेंगे
आपके नाम-संकल्प से संपन्न हुई पूजा का वीडियो आपके साथ शेयर किया जायेगा एवं तीर्थ-प्रसाद आपके दिए गए पते पर भेजा जायेगा।

2001

पारिवारिक पूजा

अधिकतम 4 सदस्यों के लिए पूजा कराएं

पूजा संकल्प के दौरान पंडित जी आपके नाम और गोत्र का उच्चारण करेंगे
आपके नाम-संकल्प के साथ संपन्न हुई पूजा का वीडियो आपके साथ साझा किया जाएगा और तीर्थ प्रसाद आपके द्वारा दिए गए पते पर भेजा जाएगा।
पूजा के अंत में फल, मिठाई और सूखे मेवे का प्रसाद चढ़ाया जाएगा।

3001

संयुक्त परिवार पूजा

अधिकतम 6 सदस्यों के लिए पूजा कराएं

पूजा संकल्प के दौरान पंडित जी आपके नाम और गोत्र का उच्चारण करेंगे
आपके नाम-संकल्प के साथ संपन्न हुई पूजा का वीडियो आपके साथ साझा किया जाएगा और तीर्थ प्रसाद आपके द्वारा दिए गए पते पर भेजा जाएगा।
पूजा के अंत में पुष्पांजलि के साथ फल, मिठाई और सूखे मेवे का प्रसाद चढ़ाया जाएगा।

कैसा रहा श्री मंदिर पूजा सेवा का अनुभव?

क्या कहते हैं श्रद्धालु?
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जय राज यादव

दिल्ली
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रमेश चंद्र भट्ट

नागपुर
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अपर्णा मॉल

पुरी
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शिवराज डोभी

आगरा
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मुकुल राज

लखनऊ
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सुनील कुमार सैनी

चंडीगढ़

अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्नों