क्या आप जानते हैं कि लक्ष्मी कवच के पाठ से दरिद्रता दूर होती है और घर में सुख-समृद्धि बनी रहती है? जानें पाठ विधि और अद्भुत लाभ।
धन, ऐश्वर्य और समृद्धि की अधिष्ठात्री देवी मां लक्ष्मी को प्रसन्न करने के लिए शास्त्रों में अनेक उपाय बताए गए हैं। इनमें से एक अत्यंत प्रभावशाली उपाय "श्री लक्ष्मी कवच" का नित्य पाठ करना है। यह एक दिव्य स्तोत्र है, जिसके नियमित पाठ से साधक के जीवन में अखंड सुख-समृद्धि, धन-धान्य, वैभव और सौभाग्य की वृद्धि होती है। चलिए इस आर्टिकल में हम जानते हैं लक्ष्मी कवच के सभी लाभ के बारे में।
हमारे वेद-पुराणों में उल्लेख मिलता है कि "जहां लक्ष्मी का वास होता है, वहां दरिद्रता, दुख, क्लेश और असफलता टिक नहीं पाती।" लेकिन कई बार अशुभ ग्रहों, नकारात्मक ऊर्जा, कर्मों के प्रभाव और वास्तुदोष के कारण व्यक्ति को आर्थिक समस्याओं का सामना करना पड़ता है। ऐसी स्थितियों में श्री लक्ष्मी कवच एक रक्षक कवच का कार्य करता है और व्यक्ति को अकाल मृत्यु, ऋण, दरिद्रता और कष्टों से बचाकर उन्नति के मार्ग पर ले जाता है।
अब हम श्री लक्ष्मी कवच के संपूर्ण श्लोक, इसके पाठ से प्राप्त होने वाले लाभ और पाठ विधि को विस्तार से जानेंगे।
॥ श्री लक्ष्मी कवच संपूर्ण पाठ ॥
|| श्रीगणेशाय नमः ||
॥ श्री ईश्वर उवाच ॥
शृणु देवि प्रवक्ष्यामि लक्ष्म्याः कवचमुत्तमम्।
येन स्त्रीणां तथा पुंसां नित्यं लक्ष्मिः स्थिरा भवेत् ॥१॥
॥ ऋषिरुवाच ॥
शृण्वन्तु मुनयः सर्वे लक्ष्मी-कवचमुत्तमम्।
यस्य पाठेन पुरुषः सदा श्रीरखिलं लभेत् ॥२॥
॥ कवचम् ॥
ॐ पद्मासना पद्ममुखी पद्मपत्रनिभेक्षणा।
विष्णुपत्नी महालक्ष्मीर्देवी मामवतादिह ॥३॥
ॐ ह्रीं श्रीं कमले कमलालये महायशस्विनि।
त्वं हि विश्वस्य जननी धनं मे देहि सत्वरम् ॥४॥
ॐ ह्रीं श्रीं महालक्ष्म्यै नमः।
ॐ ह्रीं ऐं श्रीं महालक्ष्म्यै नमः।
ॐ श्रीं ह्रीं क्लीं महालक्ष्म्यै नमः ॥५॥
(इस प्रकार श्री लक्ष्मी कवच के शेष श्लोकों का निरंतर पाठ करें।)
1. धन, वैभव और समृद्धि की प्राप्ति
श्री लक्ष्मी कवच का नित्य पाठ करने से साधक को धन, संपत्ति, ऐश्वर्य और भौतिक सुख-सुविधाएं प्राप्त होती हैं। माता लक्ष्मी की कृपा से जीवन में कभी आर्थिक तंगी नहीं आती।
2. ऋण मुक्ति और दरिद्रता नाश
जो व्यक्ति कर्ज़ में डूबा हो, उसे इस कवच का पाठ नियमित रूप से 21 दिन तक करना चाहिए। इससे सभी आर्थिक संकट समाप्त होते हैं और धन आगमन के नए स्रोत खुलते हैं।
3. व्यापार और करियर में सफलता
यदि किसी का व्यापार या नौकरी में लगातार असफलता मिल रही हो, तो लक्ष्मी कवच का पाठ करने से व्यापार में उन्नति, नौकरी में पदोन्नति और आय में वृद्धि होती है।
4. पारिवारिक सुख-शांति
मां लक्ष्मी की कृपा से घर में शांति, प्रेम और सद्भाव बना रहता है। यह कवच नकारात्मकता को दूर करता है और परिवार के सदस्यों के बीच आपसी संबंधों को मधुर बनाता है।
5. सौभाग्य और यश की वृद्धि
जो व्यक्ति इस कवच का पाठ करता है, उसके जीवन में सौभाग्य का संचार होता है और समाज में प्रतिष्ठा बढ़ती है। यह स्त्रियों के लिए भी अत्यंत शुभ है, जिससे उनके वैवाहिक जीवन में सौहार्द बना रहता है।
6. वास्तुदोष और नकारात्मक ऊर्जा से मुक्ति
यदि किसी घर में वास्तुदोष हो या कोई नकारात्मक ऊर्जा का प्रभाव हो, तो इस कवच का पाठ करने से वह प्रभाव समाप्त हो जाता है।
शुक्रवार का दिन लक्ष्मी साधना के लिए सर्वश्रेष्ठ माना जाता है।
दीपावली, अक्षय तृतीया, पूर्णिमा और नवरात्रि के दिन इसका पाठ विशेष फलदायी होता है।
प्रातःकाल और संध्या के समय पाठ करना उत्तम माना जाता है।
स्वच्छ वस्त्र पहनकर आसन ग्रहण करें।
माता लक्ष्मी की मूर्ति या चित्र के सामने बैठें।
घी का दीपक जलाएं और कमल का फूल अर्पित करें।
सफेद चंदन से तिलक करें और धूप-अगरबत्ती जलाएं।
माता लक्ष्मी को दूध से बनी मिठाई और केसरयुक्त खीर का भोग लगाएं।
गणेश वंदना से पूजा प्रारंभ करें।
श्री लक्ष्मी कवच का श्रद्धा और समर्पण के साथ पाठ करें।
पाठ के पश्चात माँ लक्ष्मी के मंत्र "ॐ महालक्ष्म्यै नमः" का 108 बार जाप करें।
अंत में माता लक्ष्मी से आशीर्वाद की प्रार्थना करें और आरती करें।
यदि संभव हो, तो पाठ समाप्त होने के बाद गरीबों को भोजन और वस्त्र दान करें।
कवच का पाठ पूर्ण श्रद्धा और पवित्रता के साथ करें।
अशुद्ध विचारों और नकारात्मक मानसिकता से बचें।
शाकाहारी भोजन करें और सात्विक जीवन शैली अपनाएं।
पाठ के बाद मां लक्ष्मी का आभार व्यक्त करें और उनके प्रति कृतज्ञता प्रकट करें।
यह कवच केवल धन प्राप्ति का साधन नहीं है, बल्कि आध्यात्मिक शुद्धि, मानसिक शांति और पारिवारिक सुख-शांति भी प्रदान करता है। अतः जो व्यक्ति श्रद्धा, विश्वास और विधिपूर्वक इसका पाठ करता है, उसे निश्चित रूप से मां लक्ष्मी की कृपा प्राप्त होती है।
श्री लक्ष्मी कवच एक अचूक उपाय है, जो साधक को धन-धान्य, ऐश्वर्य, सुख-शांति, सफलता और सौभाग्य प्रदान करता है। यह केवल भौतिक समृद्धि ही नहीं, बल्कि आध्यात्मिक उत्थान का भी मार्ग प्रशस्त करता है।
अगर, आप अपने जीवन में अखंड लक्ष्मी कृपा चाहते हैं, तो इस दिव्य कवच का नियमित पाठ करें और माता लक्ष्मी की अनुकंपा प्राप्त करें।
॥ श्री महालक्ष्म्यै नमः ॥
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