हनुमान चालीसा कब नहीं पढ़ना चाहिए | Hanuman Chalisa Kab Nahi Padhna Chahiye

हनुमान चालीसा कब नहीं पढ़ना चाहिए ?

जानें उन विशेष परिस्थितियों और समय के बारे में जब हनुमान चालीसा का पाठ करना उचित नहीं होता


हनुमान चालीसा का पाठ कब करें और कब नहीं

हनुमान चालीसा का पाठ करने से जीवन के हर दुख और हर संकट दूर हो जाते हैं। दानव-पिशाच से होने वाली समस्याओं में हनुमान चालीसा को सबसे महत्वपूर्ण माना जाता है।

हनुमान चालीसा कब नहीं पढ़ना चाहिए (Hanuman Chalisa Kab Nahi Padhna Chahiye)

क्या आप जानते हैं कि हनुमान चालीसा का पाठ करने वालों को बेहद सख्त नियमों का पालन करना पड़ता है और कुछ समय ऐसे भी होते हैं जब हनुमान चालीसा का पाठ नहीं करना चाहिए। यहां हम उन्हीं के बारे में बता रहे हैं।

दूसरी महिला से दूरी

हनुमान चालीसा का पाठ करने वालों को पराई स्त्रियों पर कुदृष्टि नहीं डालनी चाहिए। अर्थात यदि आप विवाहित हैं तो कभी भी पराई स्त्री से संबंध नहीं बनाना चाहिए। और यदि कुंवारे हैं तो विवाह होने तक प्रत्येक महिला को सम्मान की नजरों से देखना चाहिए। परई स्त्रियों पर कुदृष्टि डालने वाले को हनुमान चालीसा का पाठ नहीं करना चाहिए।

मांस और शराब का सेवन

हनुमान चालीसा का पाठ करने वाले हनुमान भक्तों को शराब या मांस से दूर रहना चाहिए। इन्हें खाने से हनुमानजी नाराज हो जाएंगे।

सूतक काल

जब परिवार में किसी व्यक्ति की मृत्यु होती है तो वहां सूतक काल मान्य होता है। इस सूतक काल में हमें हनुमान सहित किसी अन्य देवता की पूजा नहीं करनी चाहिए। इस दौरान मंदिर में प्रवेश भी न करें।

स्वच्छता

हनुमान जी को स्वच्छ वातावरण पसंद है। इसलिए कोशिश करें कि घर में हमेशा साफ-सफाई रखें। जिस घर में हनुमान जी की मूर्ति स्थापित हो वहां साफ-सफाई का विशेष ध्यान दें।

कपट और बेइमानी से दूर रहें

हनुमान चालीसा का पाठ करने वालों को कपटी और कपटी लोगों की संगति से बचना चाहिए। ऐसे लोगों को अपना जीवन ईमानदारी से जीना चाहिए।

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