मासिक कृष्ण जन्माष्टमी | Masik Krishna Janmashtami 2024
भगवान श्रीकृष्ण के प्रति भक्तों का असीम प्रेम और उनकी आस्था की शब्दों में व्याख्या कर पाना असंभव है। भक्तजन भगवान श्री कृष्ण को जब भी दिल से याद करते हैं, उन्हें हमेशा अपने करीब महसूस करते हैं। इसी प्रेम और आस्था को व्यक्त करने के लिए भक्त उनकी श्रद्धापूर्वक पूजा अर्चना करते हैं और संयम के साथ व्रत-उपवास रखते हैं। भगवान श्रीकृष्ण को समर्पित ऐसा ही एक व्रत है, जिसे मासिक कृष्ण जन्माष्टमी के नाम से जाना जाता है।
इस व्रत के बारे में विस्तारपूर्वक जानें
- कब है मासिक जन्माष्टमी?
- क्यों मनाई जाती है मासिक जन्माष्टमी?
- मासिक जन्माष्टमी का महत्व
- मासिक कृष्ण जन्माष्टमी पर क्या करें?
मासिक कृष्ण जन्माष्टमी कब है?
- आश्विन मास में मासिक कृष्ण जन्माष्टमी ‘कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि’ पर 24 अक्टूबर 2024, गुरुवार को मनाई जाएगी।
- मासिक कृष्ण जन्माष्टमी का शुभ मुहूर्त 24 अक्टूबर 2024, गुरुवार की रात 11 बजकर 17 मिनट से 25 अक्टूबर 2024, शुक्रवार की रात 12 बजकर 07 मिनट तक रहेगा।
- शुभ मुहूर्त की कुल अवधि 51 मिनट होगी।
- अष्टमी तिथि का प्रारम्भ 24 अक्टूबर 2024, गुरुवार को रात 01 बजकर 18 मिनट से होगा।
- अष्टमी तिथि का समापन 25 अक्टूबर 2024, शुक्रवार को रात 01 बजकर 58 मिनट पर होगा।
इस दिन के शुभ मुहूर्त -
- ब्रह्म मुहूर्त - 04:20 ए एम से 05:11 ए एम तक
- प्रातः सन्ध्या - 04:45 ए एम से 06:01 ए एम तक
- अभिजित मुहूर्त - 11:19 ए एम से 12:05 पी एम तक
- विजय मुहूर्त - 01:35 पी एम से 02:21 पी एम तक
- गोधूलि मुहूर्त - 05:23 पी एम से 05:48 पी एम तक
- सायाह्न सन्ध्या - 05:23 पी एम से 06:39 पी एम तक
- अमृत काल - 12:53 ए एम, अक्टूबर 25 से 02:35 ए एम, (25 अक्टूबर) तक
- निशिता मुहूर्त - 11:17 पी एम से 12:07 ए एम, (25 अक्टूबर) तक
- गुरु पुष्य योग - 06:15 ए एम से 06:02 ए एम, (25 अक्टूबर) तक
- सर्वार्थ सिद्धि योग - पूरे दिन
- अमृत सिद्धि योग - 06:15 ए एम से 06:02 ए एम, (25 अक्टूबर) तक
- रवि योग - 06:01 ए एम से 06:15 ए एम तक
क्यों मनाई जाती है मासिक कृष्ण जन्माष्टमी?
धार्मिक मान्यता है कि भगवान श्रीकृष्ण का जन्म भाद्रपद मास की अष्टमी तिथि पर हुआ था। इस कारण, हिंदू धर्म में हर महीने भगवान कृष्ण की जन्म तिथि को मासिक कृष्ण जन्माष्टमी के रूप में मनाया जाता है। इस दिन भगवान श्रीकृष्ण के भक्त उनका आशीष प्राप्त करने के लिए उपवास रखते हैं और भगवान की आराधना करते हैं।
मासिक जन्माष्टमी का महत्व
इस व्रत को रखना धार्मिक रूप से अत्यंत महत्वपूर्ण माना गया है, इससे व्यक्ति के पापों तथा भय का नाश होता है। मान्यता यह भी है कि इस व्रत से व्यक्ति की मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं। इस मासिक कृष्ण अष्टमी व्रत को जो भक्त, श्रद्धापूर्वक लगातार एक साल तक करता हैं, वह सभी कष्टों से मुक्त होकर धन धान्य से परिपूर्ण होकर उत्तम ऐश्वर्य को प्राप्त करता है। इस व्रत के महात्म्य को सुनने वाले उपासक को वैभव एवं यश की प्राप्ति होती है।
मासिक कृष्ण जन्माष्टमी पर क्या करें?
आप इस तिथि पर ब्रह्म मुहूर्त में उठकर स्नान आदि से निवृत हो जाएं। इसके बाद मंदिर में दीप प्रज्वलित करके विधि विधान से भगवान श्रीकृष्ण की पूजा-अर्चना करें। अगले दिन पूजा करने के बाद ही व्रत का पारण करें।
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जय श्री कृष्ण!