अपने बच्चों की समृद्धि और कल्याण का आशीष पाने के लिए देवउठनी एकादशी संतान सुख विशेष पुत्र कामेष्टि हवन
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अपने बच्चों की समृद्धि और कल्याण का आशीष पाने के लिए देवउठनी एकादशी संतान सुख विशेष पुत्र कामेष्टि हवन
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अपने बच्चों की समृद्धि और कल्याण का आशीष पाने के लिए देवउठनी एकादशी संतान सुख विशेष पुत्र कामेष्टि हवन
अपने बच्चों की समृद्धि और कल्याण का आशीष पाने के लिए देवउठनी एकादशी संतान सुख विशेष पुत्र कामेष्टि हवन
देवउठनी एकादशी संतान सुख विशेष

पुत्र कामेष्टि हवन

अपने बच्चों की समृद्धि और कल्याण का आशीष पाने के लिए
temple venue
एट्टेलुथुपेरुमल मंदिर, तिरुनेलवेली, तमिलनाडु
pooja date
12 नवम्बर, मंगलवार, देवउठनी एकादशी
Warning Infoइस पूजा की बुकिंग बंद हो गई है
srimandir devotees
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अब तक3,00,000+भक्तोंश्री मंदिर द्वारा आयोजित पूजाओ में भाग ले चुके हैं

अपने बच्चों की समृद्धि और कल्याण का आशीष पाने के लिए देवउठनी एकादशी संतान सुख विशेष पुत्र कामेष्टि हवन

देव उठनी एकादशी, जिसे प्रबोधिनी एकादशी भी कहा जाता है, हिंदू धर्म में एक महत्वपूर्ण पर्व है जो भगवान विष्णु के चार महीनों की योगनिद्रा से जागरण का प्रतीक है। इस चार महीने के काल को चातुर्मास कहा जाता है, जो शयनी एकादशी से देव उठनी एकादशी तक चलता है। मान्यता है कि देवउठनी एकादशी पर भगवान विष्णु की पूजा करने से परिवार में सुख समृद्धि का वास होता है और जीवन से सभी प्रकार के कष्ट दूर हो जाते हैं। इस शुभ तिथि पर पुत्र कामेष्टि हवन करने से भी अत्यंत शुभ फल प्राप्त होते हैं। वाल्मीकि द्वारा रचित रामायण में वर्णित है कि, त्रेतायुग में गुरु वशिष्ठ ने राजा दशरथ को पुत्र कामेष्टि हवन करने की सलाह दी थी। उनके मार्गदर्शन का पालन करते हुए राजा दशरथ ने यह हवन किया था, जिससे उनकी रानियों को पुत्र की प्राप्ति हुई। इस हवन ने राजा दशरथ को भगवान राम जैसे पुत्र का पिता बनने का दिव्य सौभाग्य प्रदान किया। सूत संहिता में कहा गया है कि भगवान विष्णु स्वयं इस हवन के विशेष ज्ञान के दाता हैं। यह अनुष्ठान किसी अनुभवी पुजारी की निगरानी में संपन्न होनी चाहिए।

सनातन धर्म में भगवान विष्णु को समर्पित पुत्र कामेष्टि हवन एक महत्वपूर्ण और पवित्र अनुष्ठान माना जाता है। मान्यता है कि देवउठनी एकादशी के शुभ तिथि पर पुत्र कामेष्टि हवन करने से माता-पिता अपने बच्चों के कल्याण और समृद्धि का आशीर्वाद प्राप्त कर सकते हैं। इसलिए भगवान विष्णु को समर्पित देवउठनी एकादशी की शुभ तिथि पर दक्षिण भारत के तिरुनेलवेली में स्थित एट्टेलुथुपेरुमल मंदिर में विद्वान पंडितों द्वारा पुत्र कामेष्टि हवन का आयोजन किया जा रहा है। श्री मंदिर के माध्यम से इस पूजा में भाग लें और भगवान विष्णु द्वारा अपने बच्चों की समृद्धि और कल्याण का आशीष प्राप्त करें।

पूजा लाभ

puja benefits
बच्चों की समृद्धि के लिए
देवउठनी एकादशी तिथि भगवान विष्णु को समर्पित सबसे शुभ तिथियों में से एक है। शास्त्रों के अनुसार, देवउठनी एकादशी पर यह हवन करने से बच्चों को सौभाग्य और समृद्धि का आशीर्वाद मिलता है। मान्यता है कि इस शुभ दिन पर भगवान विष्णु के दिव्य आशीर्वाद का आह्वान करने से बच्चों को स्वास्थ्य, खुशी और उनके सभी प्रयासों में सफलता मिलती है।
puja benefits
अपने बच्चों के कल्याण के आशीष के लिए
मान्यता है कि देवउठनी एकादशी के शुभ दिन पर पुत्र कामेष्टि हवन करने से माता-पिता को अपने बच्चों के अच्छे स्वास्थ्य और कल्याण का आशीर्वाद मिलता है। शास्त्रों के अनुसार, यह पूजा न केवल बच्चों के शारीरिक स्वास्थ्य को सुनिश्चित करती है, बल्कि उनकी समृद्धि और सफलता के लिए भी मददगार होती है।
puja benefits
बच्चे के उज्ज्वल भविष्य के लिए
कई बार बच्चों के कठिन परिश्रम करने के बावजूद भी उन्हें सफलता प्राप्त नहीं होती है। माना जाता है कि देवउठनी एकादशी तिथि पर पुत्र कामेष्टि हवन करने से आपके बच्चे के अंदर न केवल आत्मविश्वास बढ़ता है, बल्कि उन्हें भगवान विष्णु के द्वारा उज्जवल भविष्य का भी आशीर्वाद प्राप्त होता है।

पूजा प्रक्रिया

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पूजा का चयन करें:

नीचे दिए गए पूजा के विकल्पों में से किसी एक का चुनाव करें।
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गौ सेवा, दीप दान, वस्त्र दान एवं अन्न दान जैसे अन्य सेवाओं के साथ अपने पूजा अनुभव को बेहतर बनाएं।
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पूजा के दिन अपडेट पाएं

हमारे अनुभवी पंडित पूरे विधि विधान से पूजा कराएंगे, पूजा के दिन श्री मंदिर भक्तों की पूजा सामूहिक रूप से की जाएगी। जिसका लाइव अपडेट्स आपके व्हाट्सएप नंबर पर भेजा जाएगा।
Number-4

पूजा वीडियो एबं तीर्थ प्रसाद डिलीवरी

3-4 दिनों के अंदर अपने व्हाट्सएप नंबर पर पूजा वीडियो पाएं एवं 8-10 दिनों में तीर्थ प्रसाद प्राप्त करें।

एट्टेलुथुपेरुमल मंदिर, तिरुनेलवेली, तमिलनाडु

एट्टेलुथुपेरुमल मंदिर, तिरुनेलवेली, तमिलनाडु
तमिलनाडु के तिरुनेलवेली में स्थित एट्टेलुथुपेरुमल मंदिर एक पूजनीय तीर्थस्थल है, जिसका आध्यात्मिक महत्व बहुत गहरा है। 120 साल पहले प्रतिष्ठित ऋषि मायांडी सिद्धर द्वारा स्थापित यह मंदिर चिरस्थायी परंपरा और भक्ति का प्रमाण है। ऋषि मायांडी सिद्धर ने भगवान राम के गहन ध्यान और दर्शन के बाद इस मंदिर का निर्माण कराया था। इस मंदिर से जुडी कई चमत्कारिक कथाओं के बारे में सुनने को मिलता है, जिनमें भगवान पेरुमल की मुख्य मूर्ति भी शामिल है, जिसे मूर्तिकला का कोई औपचारिक ज्ञान न रखने वाले एक साधारण व्यक्ति ने गढ़ा था। मंदिर में कई पवित्र मूर्तियाँ हैं, जिनमें शुद्ध स्पष्ट क्वार्ट्ज से बना उल्लेखनीय स्फटिक लिंगम भी शामिल है।

शास्त्रों के अनुसार, स्फटिक लिंगम की पूजा करने से भक्तों में आत्मविश्वास, आत्म-सम्मान और शक्ति आती है, साथ ही चिंताएँ और नकारात्मक प्रभाव से भी राहत मिलता है। यह स्फटिक लिंगम विशेष रूप से महत्वपूर्ण है क्योंकि यह ऋषिकेश के बाद भारत में सबसे बड़े स्फटिक लिंगम में से एक है। भक्तगण एट्टेलुथुपेरुमल मंदिर में भगवान राम, भगवान कृष्ण, भगवान कार्तिकेय, भगवान शिव और भगवान हनुमान से आशीर्वाद लेने के लिए आते हैं। मान्यता है कि यहाँ पूजा करने से भक्तों की सभी मनोकामनाएँ पूरी होती हैं और जीवन में उन्हें सभी प्रयासों में सफलता मिलती है।

पूजा का चयन करें

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व्यक्तिगत पूजा

अधिकतम 1 व्यक्ति के लिए पूजा कराएं

पंडित जी पूजा संकल्प के दौरान अन्य पूजा प्रतिभागियों के नाम के साथ आपके नाम एवं गोत्र का उच्चारण करेंगे।
अपनी पूजा के साथ वस्त्र दान, अन्नदान, गौ सेवा और दीप दान जैसे अतिरिक्त विकल्पों का चुनाव कर सकते हैं, जो आपके नाम से किया जाएगा।
आपकी पूजा संपन्न होने पर पूजा का वीडियो 3-4 दिनों के अंदर आपके पंजीकृत व्हाट्सएप नंबर पर भेजा जाएगा एवं आप इसे अपनी बुकिंग हिस्ट्री में जाकर भी देख सकते हैं।
पूजा संपन्न होने के बाद पवित्र तीर्थ प्रसाद जैसे- गंगाजल, पंचमेवा, लाल मौली 8-10 दिनों के भीतर आपके पते पर भेज दिया जाएगा। यह प्रसाद,आपकी पूजा बुकिंग के साथ ही, बिना किसी अतिरिक्त शुल्क के भेजा जाएगा।

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पार्टनर पूजा

अधिकतम 2 व्यक्ति के लिए पूजा कराएं

पंडित जी पूजा संकल्प के दौरान अन्य पूजा प्रतिभागियों के साथ आपके परिवार के 2 सदस्यों के नाम व गोत्र का उच्चारण करेंगे।
अपनी पूजा के साथ वस्त्र दान, अन्नदान, गौ सेवा और दीप दान जैसे अतिरिक्त विकल्पों का चुनाव कर सकते हैं, जो आपके नाम से किया जाएगा।
आपकी पूजा संपन्न होने पर पूजा का वीडियो 3-4 दिनों के अंदर आपके पंजीकृत व्हाट्सएप नंबर पर भेजा जाएगा एवं आप इसे अपनी बुकिंग हिस्ट्री में जाकर भी देख सकते हैं।
पूजा संपन्न होने के बाद पवित्र तीर्थ प्रसाद जैसे- गंगाजल, पंचमेवा, लाल मौली 8-10 दिनों के भीतर आपके पते पर भेज दिया जाएगा। यह प्रसाद,आपकी पूजा बुकिंग के साथ ही, बिना किसी अतिरिक्त शुल्क के भेजा जाएगा।

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पारिवारिक पूजा

अधिकतम 4 सदस्यों के लिए पूजा कराएं

पंडित जी पूजा संकल्प के दौरान अन्य पूजा प्रतिभागियों के साथ आपके परिवार के 4 सदस्यों के नाम व गोत्र का उच्चारण करेंगे।
एट्टेलुथुपेरुमल मंदिर में भगवान विष्णु को फल, मिठाई और सूखे मेवे का भोग चढ़ाया जाएगा।
अपनी पूजा के साथ वस्त्र दान, अन्नदान, गौ सेवा और दीप दान जैसे अतिरिक्त विकल्पों का चुनाव कर सकते हैं, जो आपके नाम से किया जाएगा।
आपकी पूजा संपन्न होने पर पूजा का वीडियो 3-4 दिनों के अंदर आपके पंजीकृत व्हाट्सएप नंबर पर भेजा जाएगा एवं आप इसे अपनी बुकिंग हिस्ट्री में जाकर भी देख सकते हैं।
पूजा संपन्न होने के बाद पवित्र तीर्थ प्रसाद जैसे- गंगाजल, पंचमेवा, लाल मौली 8-10 दिनों के भीतर आपके पते पर भेज दिया जाएगा। यह प्रसाद,आपकी पूजा बुकिंग के साथ ही, बिना किसी अतिरिक्त शुल्क के भेजा जाएगा।

3001

संयुक्त परिवार पूजा

अधिकतम 6 सदस्यों के लिए पूजा कराएं

पंडित जी पूजा संकल्प के दौरान अन्य पूजा प्रतिभागियों के साथ आपके परिवार के 6 सदस्यों के नाम व गोत्र का उच्चारण करेंगे।
एट्टेलुथुपेरुमल मंदिर में भगवान विष्णु को पुष्पांजलि के साथ फल, मिठाई और सूखे मेवे से युक्त भोग अर्पित किया जाएगा।
अपनी पूजा के साथ वस्त्र दान, अन्नदान, गौ सेवा और दीप दान जैसे अतिरिक्त विकल्पों का चुनाव कर सकते हैं, जो आपके नाम से किया जाएगा।
आपकी पूजा संपन्न होने पर पूजा का वीडियो 3-4 दिनों के अंदर आपके पंजीकृत व्हाट्सएप नंबर पर भेजा जाएगा एवं आप इसे अपनी बुकिंग हिस्ट्री में जाकर भी देख सकते हैं।
पूजा संपन्न होने के बाद पवित्र तीर्थ प्रसाद जैसे- गंगाजल, पंचमेवा, लाल मौली 8-10 दिनों के भीतर आपके पते पर भेज दिया जाएगा। यह प्रसाद,आपकी पूजा बुकिंग के साथ ही, बिना किसी अतिरिक्त शुल्क के भेजा जाएगा।

हमारे पिछले पूजा अनुभव के झलक

पूजा समाप्त होने के बाद, आपकी पूजा का पूरा वीडियो रिकॉर्डिंग, नाम और गोत्र चैंटिंग सहित, साझा किया जाएगा।
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